केवल नागपंचमी पर्व पर खुलते है भगवान श्री नागचन्द्रेश्वर के पट
नेपाल से यहां लाई गई थी प्रतिमा

उज्जैन । 29 जुलाई मंगलवार को नागपंचमी पर्व मनाया जावेगा, जिसमें देश के कोने-कोने से बड़ी संख्या में श्रद्धालु भगवान नागचन्द्रेश्वर के दर्शन के लिए आयेंगे। इसे देखते हुए प्रशासन ने व्यापक व्यवस्थाएं सुनिश्चित की हैं।
उल्लेखनीय है कि श्री महाकालेश्वर मंदिर के द्वितीय तल पर श्री नागचन्द्रेश्वर मंदिर के पट वर्ष में एक बार 24 घंटे सिर्फ नागपंचमी के दिन खुलते है। हिंदू धर्म में सदियों से नागों की पूजा करने की परंपरा रही है। हिंदू परंपरा में नागों को भगवान का आभूषण भी माना गया है।
श्री महाकाल मंदिर के गर्भगृह के उपर ओंकारेश्वर मंदिर और उसके भी शीर्ष पर भगवान श्री नागचन्द्रेश्वर का मंदिर प्रतिष्ठाापित है।
श्री नागचन्द्रेश्वर मंदिर में 11 वीं शताब्दीे की एक अद्भुत प्रतिमा स्थापित है। प्रतिमा में श्री नागचन्द्रेश्वर स्वयं अपने सात फनों से सुशोभित हो रहे है। साथ में शिव-पार्वती के दोनों वाहन नंदी एवं सिंह भी विराजित है। मूर्ति में श्री गणेश की ललितासन मूर्ति, उमा के दांयी ओर कार्तिकेय की मूर्ति व उपर की ओर सूर्य-चन्द्रमा भी अंकित है। इस प्रकार श्री नागचन्द्रेश्वर की मूर्ति अपने आप में भव्य एवं कलात्मकता का उदहारण है। भगवान के गले और भुजाओं में भुजंग लिपटे हुए है। कहते हैं कि यह प्रतिमा नेपाल से यहां लाई गई थी । ऐसी मान्यता है कि, उज्जैेन के अलावा दुनिया में कहीं भी ऐसी प्रतिमा नहीं है।
इस प्रतिमा के दर्शन के उपरांत अंदर प्रवेश करने पर भगवान श्री नागचन्द्रेश्वर की मुख्य प्रतिमा (शिवलिंग) के दर्शन होते है।
28 जुलाई 2025 सोमवार की रात्रि 12 बजे पट खुलेंगे
पट खुलने के बाद रात्रि 12 बजे विशेष पूजा-अर्चना के साथ आम भक्तों के लिये मंदिर के पट खुल जायेंगे और श्री नागचन्द्रेश्वर महादेव के 29 जुलाई 2025 मंगलवार तक लगातार 24 घंटे दर्शन होंगे। मंदिर के पट मंगलवार की रात्रि 12 बजे बंद होंगे।
श्री नागचन्द्रेश्वर भगवान की होगी त्रिकाल पूजा
नागपंचमी पर्व पर भगवान श्री नागचन्द्रेश्वर की त्रिकाल पूजा होगी। जिसमें सोमवार 28 जुलाई 2025 की मध्यरात्रि 12 बजे पट खुलने के पश्चा्त श्री पंचायती महानिर्वाणी अखाडे के महंत विनितगिरी जी महाराज एवं अन्य अधिकारियो द्वारा प्रथम पूजन व अभिषेक किया जावेगा। मंगलवार 29 जुलाई 2025 को अपरान्ह 12 बजे अखाड़े द्वारा पूजन होगा।
श्री महाकालेश्वर मंदिर प्रबंध समिति द्वारा मंगलवार 29 जुलाई 2025 को ही श्री महाकालेश्वर भगवान की सायं आरती के पश्चात श्री नागचन्द्रेश्वर जी की पूजन-आरती श्री महाकालेश्वर मंदिर के पुजारी एवं पुरोहितों द्वारा की जावेगी।
29 जुलाई 2025 को रात्रि 12 बजे के पश्चात भगवान श्री नागचन्द्रेश्वर महादेव के पट बंद किये दिए जायेगे |